सावन का महीना अपनी समाप्ति की ओर है और शिव भक्तों के लिए कल यानी सावन का आखिरी सोमवार विशेष महत्व रखता है। इस पवित्र महीने में भगवान शिव की आराधना करने वाले भक्त इस दिन का बेसब्री से इंतजार करते हैं। माना जाता है कि सावन के अंतिम सोमवार को व्रत और पूजा करने से पूरे सावन मास की पूजा का फल मिलता है।
लेकिन, महादेव की पूजा करते समय कुछ नियमों का पालन करना अत्यंत आवश्यक होता है। कुछ ऐसी चीजें हैं जिन्हें शिवलिंग पर भूलकर भी नहीं चढ़ाना चाहिए। अगर आप इन चीजों को अर्पित करते हैं, तो पूजा का पूरा फल नहीं मिलता और भगवान रुष्ट भी हो सकते हैं।
शिवलिंग पर भूलकर भी न चढ़ाएं ये 5 चीजें
पूजा-पाठ में हर वस्तु का अपना एक विशेष महत्व होता है। इसलिए यह जानना जरूरी है कि किन चीजों को शिवलिंग पर अर्पित नहीं करना चाहिए:
1. हल्दी (Turmeric)
हल्दी को सौभाग्य और स्त्रियों से जुड़ा माना जाता है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, शिवलिंग पुरुषत्व का प्रतीक है, इसलिए इस पर हल्दी चढ़ाना वर्जित है। भगवान शिव के भक्त हल्दी का उपयोग शिवजी के श्रृंगार में भी नहीं करते हैं। हालाँकि, माता पार्वती और अन्य देवियों को हल्दी अर्पित की जाती है।
2. कुमकुम या सिंदूर (Kumkum/Vermilion)
सिंदूर या कुमकुम सुहाग का प्रतीक है, जिसे विवाहित महिलाएं अपने पति की लंबी उम्र के लिए लगाती हैं। भगवान शिव वैरागी हैं और उन्हें सिंदूर चढ़ाने के बजाय चंदन का तिलक लगाना शुभ माना जाता है।
3. तुलसी (Tulsi)
तुलसी को भगवान विष्णु का प्रिय माना जाता है, लेकिन शास्त्रों के अनुसार भगवान शिव को तुलसी कभी अर्पित नहीं करनी चाहिए। इसके पीछे एक पौराणिक कथा है, जिसके अनुसार तुलसी अपने पूर्व जन्म में जालंधर नामक राक्षस की पत्नी थीं, जिसका वध भगवान शिव ने किया था। इसलिए शिवजी की पूजा में तुलसी का प्रयोग वर्जित है।
4. शंख से जल (Water from a Conch Shell)
शंख का उपयोग भगवान विष्णु की पूजा में होता है। लेकिन शिवजी की पूजा में शंख से जल अर्पित करना मना है। एक कथा के अनुसार, भगवान शिव ने शंखचूड़ नाम के राक्षस का वध किया था, जिसने शंख का रूप ले लिया था। इसलिए शिवजी की पूजा में शंख वर्जित है।
5. केतकी का फूल (Ketaki flower)
पौराणिक कथाओं के अनुसार, एक बार भगवान ब्रह्मा और विष्णु के बीच श्रेष्ठता को लेकर विवाद हुआ था। इस दौरान केतकी के फूल ने झूठ बोलकर ब्रह्मा जी का साथ दिया था। इस पर क्रोधित होकर शिवजी ने केतकी के फूल को श्राप दिया कि उनकी पूजा में कभी भी इसका इस्तेमाल नहीं किया जाएगा।
शिवलिंग पर क्या अर्पित करना चाहिए?
इन वर्जित चीजों के बजाय, आप सावन के आखिरी सोमवार को शिवलिंग पर जल, कच्चा दूध, बेलपत्र, धतूरा, भांग, गंगाजल और शमी के पत्ते अर्पित कर सकते हैं। ये सभी चीजें भगवान शिव को अत्यंत प्रिय हैं और इन्हें श्रद्धापूर्वक चढ़ाने से महादेव शीघ्र प्रसन्न होते हैं।
याद रखें, किसी भी पूजा में सबसे महत्वपूर्ण चीज आपका मन और सच्ची श्रद्धा होती है। बिना किसी ताम-झाम के, अगर आप सच्चे मन से भोलेनाथ को सिर्फ जल भी अर्पित करते हैं, तो वे आपकी भक्ति से प्रसन्न होकर आपकी सभी मनोकामनाएं पूर्ण करते हैं। सावन के आखिरी सोमवार को पूरी श्रद्धा के साथ शिवजी की आराधना करें और उनका आशीर्वाद प्राप्त करें।
क्या आप भी करते हैं ये गलती? सावन के आखिरी सोमवार को जानें शिवलिंग पर क्या अर्पित करना है वर्जित।
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